मिर्ज़ापुर में दुर्घटना की खबर कवरेज करने गए पत्रकार के साथ पुलिस ने कियाअपराधियों जैसा सलूक
मिर्ज़ापुर में दुर्घटना की खबर कवरेज करने गए पत्रकार के साथ अपराधियों जैसा किया गया सलूक
*शरीर पर लगे पुलिसिया चोट के निशान दिखाकर बिलख उठा पत्रकार
We News 24 Digital News» रिपोर्टिंग सूत्र / संतोष देव गिरी
मीरजापुर। समाचार संकलन करने गए एक दैनिक समाचार पत्र के संवाददाता को ड्रमंडगंज थाना पुलिस द्वारा बेवजह लॉकअप में रखने तथा लाठी से मारने पीटने के पश्चात धारा 151 में चालान किए जाने की घटना से पत्रकार और उनका परिवार काफी आहत हैं। मामले की शिकायत पुलिस अधीक्षक सहित पुलिस के अन्य अधिकारियों से की गई है। जानकारी के अनुसार ड्रमंडगंज थाना क्षेत्र के करनपुर निवासी अभिनेश प्रताप सिंह वाराणसी से प्रकाशित एक दैनिक समाचार पत्र के ड्रमंडगंज क्षेत्रीय संवाददाता है।
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रविवार को वह ड्रमंडगंज घाटी में ट्रक दुर्घटना में दो लोगों की हुई मौत का समाचार संकलन करने हेतु मौके पर गये हुए थे। जहां ड्रमंडगंज थाने की पुलिस भी मौजूद रही हैं, जिनमें एक उपनिरीक्षक तथा 3 कॉन्स्टेबल (जिनका नाम वह नहीं जानते, लेकिन देखने पर पहचान जाएंगे) द्वारा उनको अकारण ही थाने उठा लाया गया। जहां थाने के लॉकअप में बंद कर बुरी तरह से लाठी से मारने पीटने के पश्चात उनका धारा 151 में चालान कर दिया गया। प्रार्थी ने जब कारण जानना चाहा तो पुनः उन्हें मारे-पीटे जाने के साथ मोबाइल इत्यादि लेकर स्विच ऑफ कर दिया गया।
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जिससे वह अपने परिजनों को सूचना इत्यादि भी नहीं दे पाये। इससे देर शाम तक उनके परिजन और उनके सगे संबंधित परेशान रहे। पीड़ित पत्रकार की मानें तो इसके पूर्व वह कई बार समाचार संकलन के संदर्भ में ड्रमंडगंज थाने पर जा चुका है, तथा बराबर पुलिस के प्रति सहयोगात्मक नजरिया भी रखता है, बावजूद इसके ड्रमंडगंज थाने के उपनिरीक्षक द्वारा जो बर्बरता और मानसिक यातना पीड़ा उन्हें दिया गया है वह उसे भूल नहीं पा रहे हैं। पुलिस के इस कृत्य का उनके मन मस्तिक पर बुरा प्रभाव पड़ा है। उन्हें शारीरिक, मानसिक पीड़ा व सामाजिक भेदभाव से भी गुजरना पड़ रहा है। पुलिसिया बर्बरता के निशान उनके शरीर के कई हिस्सों पर पड़े हुए हैं, जो खुद ब खुद पुलिस के जुल्मों सितम को दर्शा रहे हैं।
इस मामले में पीड़ित पत्रकार ने मीडिया के समक्ष शरीर पर पुलिस के लाठी के निशान को दिखाते न केवल बिलख पड़े थे, बल्कि दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ दंडात्मक कार्यवाही सुनिश्चित कराने की मांग करते हुए अधिकारियों से न्याय दिलाने की गुहार लगाई है।
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घटना से आहत हैं पत्रकार ----
समाचार कवरेज करने गए क्षेत्रीय संवाददाता के साथ पुलिस द्वारा किए गए दुर्व्यवहार की घटना से जिले के पत्रकार काफी मर्म आहत है बल्कि आक्रोशित भी है पत्रकारों का कहना है कि पुलिस कार्रवाई ना केवल अनुचित है बल्कि मानवाधिकार का भी हनन है। लोग सवाल कर रहे हैं कि ऐसे कैसे भला पुलिस किसी को बेवजह थाने के लॉकअप में बंद कर पीटने के साथ उसका चालान कर सकती है? एक तरफ जिले के पुलिस अधीक्षक संतोष कुमार मिश्रा जहां अपराध एवं अपराधियों के खिलाफ मुहिम चलाकर जिले में अमन-चन का वातावरण कायम करना चाहते हैं तो वहीं दूसरी ओर उन्हीं के मातहत लोग अधिकारियों और विभाग की किरकिरी कराने पर तुले हुए हैं।
मलाईदार थानों में शुमार ड्रमंडगंज थाना ---
मिर्जापुर का ड्रमंडगंज थाना मिर्जापुर-रीवा नेशनल मार्ग पर स्थित होने के साथ ही साथ मलाईदार थानों में शुमार है। अवैध खनन, परिवहन से लेकर अवैध वसूली के लिए भी यह ईलाका सरनाम है। कई राज्यों के लिए इधर से बराबर छोटे बड़े सैकड़ों वाहनों का आवागमन होता है ऐसे में यह इलाका पुलिस के लिए किसी कमाऊ पूत से कम नहीं है।
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