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    इस बार वक्त से पहले आएगा मानसून – 16 साल बाद केरल में समय से पहले पहुंचेगा मानसून

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    🆆🅴🅽🅴🆆🆂 24 डिजिटल डेस्क

    ✍️ Reporting By :काजल कुमारी   | WeNews24 |

    नई दिल्ली/तिरुवनंतपुरम, मई 2025 —  मानसून... एक ऐसा शब्द जो देश के करोड़ों दिलों में राहत, उम्मीद और जीवन की एक नई शुरुआत लेकर आता है। मई का महीना है और गर्म हवाओं की चुभन के बीच, खेतों से लेकर छतों तक हर कोई बरसात की पहली बूँद का इंतज़ार कर रहा है। खासकर उत्तर भारत, दिल्ली और केरल में अब सवाल एक ही है – "मानसून इस साल कब आएगा?"



    केरल से होती है शुरुआत – कब पहुंचेगा मानसून?

    भारत में दक्षिण-पश्चिम मानसून की शुरुआत हर साल केरल से होती है।

    भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अनुसार:

    अगले 24 घंटों में दक्षिण-पश्चिम मानसून केरल में दस्तक देने वाला है। यह अपने तय समय से करीब एक सप्ताह पहले आ रहा है — और ये ऐसा 16 साल में पहली बार होगा।



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    आम तौर पर हर साल मानसून 1 जून के आसपास केरल पहुंचता है। लेकिन इस साल स्थिति अलग है। मौसम विभाग के मुताबिक, वर्तमान में निम्न दबाव वाले क्षेत्र, अरब सागर की सक्रिय हवाएं, और लगातार हो रही भारी वर्षा मानसून के लिए अनुकूल परिस्थितियाँ बना चुकी हैं। यदि यह 27 मई तक पहुंचता है, तो यह 2009 और 2001 की तरह सबसे जल्दी आगमन के उदाहरणों में शामिल हो जाएगा।


    केरल के किसानों ने खेतों की सफाई शुरू कर दी है, और घरों में छाता और बरसाती निकाल ली गई है। बच्चों के चेहरे पर भी बादलों को देख मुस्कान लौटने लगी है।


    🌦️ मानसून का जल्दी आना: किसानों के लिए उम्मीद की फुहार

    मानसून का समय पर या जल्दी आना न केवल मौसम वैज्ञानिकों की उपलब्धि है, बल्कि देश के लाखों किसानों के लिए एक जीवनरेखा है। भारत में धान, गन्ना, मक्का और दालों की खेती मानसूनी बारिश पर ही निर्भर है।



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    सीतामढ़ी, बिहार के किसान विनोद यादव कहते हैं:

    "अगर इस बार बारिश वक्त पर हो जाए, तो खरीफ की फसल में जान आ जाएगी। पिछले साल देरी से काफी नुकसान हुआ था।"


    इतिहास की नजर से मानसून का आगमन:

    वर्ष मानसून के आगमन की तिथि टिप्पणी

    1918 11 मई सबसे जल्दी मानसून

    1972 18 जून सबसे देरी से

    2016 9 जून पिछले 25 वर्षों में सबसे देरी से

    2024 30 मई सामान्य से थोड़ा जल्दी

    2025 27 मई (संभावित) 16 साल बाद सबसे जल्दी


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    दिल्ली और उत्तर भारत में कब पहुंचेगा मानसून?

    उत्तर भारत (दिल्ली, यूपी, बिहार, हरियाणा, पंजाब) में मानसून आमतौर पर 20 जून से 5 जुलाई के बीच पहुंचता है। इस साल:

     मौसम विभाग के अनुमान के अनुसार, दिल्ली में मानसून की एंट्री 27 जून से 1 जुलाई के बीच हो सकती है।
     पंजाब, हरियाणा और राजस्थान के कुछ हिस्सों में मानसून 2 से 5 जुलाई तक पहुंचेगा।
     बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश में बारिश 25 जून के आसपास दस्तक दे सकती है।

     

    दिल्ली निवासी आनंद श्रीवास्तव, जो एक सरकारी कर्मचारी हैं, कहते हैं:

    "हर दिन की गर्मी अब सहन नहीं होती। मानसून की खबर एक ताज़ा हवा के झोंके जैसी है। अब बस पहली बारिश का इंतजार है।"


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     70% बारिश मानसून से – इसलिए समय पर आना है बेहद अहम

    भारत में साल भर की कुल बारिश का करीब 70% हिस्सा जून से सितंबर के बीच ही होता है। ये बारिश:

    खेती

    जलस्तर बनाए रखने

    बिजली उत्पादन (हाइड्रोपावर)


    और शहरी जलापूर्ति के लिए बेहद जरूरी होती है।

    इसलिए मानसून का समय पर या जल्दी आना न केवल मौसम की बात है, बल्कि यह आर्थिक और सामाजिक स्थिरता से भी जुड़ा है।


    मानसून का केरल में जल्द आगमन सिर्फ एक मौसम की खबर नहीं, बल्कि देश के करोड़ों लोगों के लिए राहत, उम्मीद और नए जीवन की शुरुआत है।

    जहाँ एक ओर खेतों में हल जोते जा रहे हैं, वहीं छतों पर आंखें आसमान से टिकी हैं – बारिश की पहली बूँद का इंतज़ार सबको है।

     

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