Header Ads

ad728
  • Latest Stories

    "पहाड़ नहीं छीनने देंगे!": अरावली की नई परिभाषा के खिलाफ गुरुग्राम-उदयपुर में ज़बरदस्त प्रदर्शन

    "पहाड़ नहीं छीनने देंगे!": अरावली की नई परिभाषा के खिलाफ गुरुग्राम-उदयपुर में ज़बरदस्त प्रदर्शन


    We News 24 : डिजिटल डेस्क »✍️रिपोर्ट: अंजलि त्यागी

    वी न्यूज 24, गुरुग्राम/उदयपुर
    दिनांक: 20 दिसंबर 2025

    गुरुग्राम/उदयपुर: आज सुबह से ही हरियाणा के गुरुग्राम और राजस्थान के उदयपुर में हजारों पर्यावरण प्रेमी, कार्यकर्ता और स्थानीय लोग सड़कों पर उतर आए। इन लोगों ने अरावली पहाड़ियों को 'ऊंचाई-आधारित' नई परिभाषा देने के सरकारी फैसले के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि यह कदम देश की सबसे पुरानी इस पर्वत श्रृंखला के पारिस्थितिकी तंत्र को बर्बाद करने जैसा है।

    गुरुग्राम में तो हंगामा ऐसा रहा कि प्रदर्शनकारियों ने कैबिनेट मंत्री राव नरबीर सिंह के आवास के बाहर तक धरना दिया। लोगों के हाथों में तख्तियां थीं, जिन पर लिखा था – "अरावली बचाओ, दिल्ली-एनसीआर बचाओ""पहाड़ काटोगे तो सांस कैसे लोगे?" और "नीयत साफ़ नहीं तो परिभाषा बदल दो?"। प्रदर्शन पूरी तरह शांतिपूर्ण रहा, लेकिन आवाज़ बुलंद थी।


    ये भी पढ़े-बुलंदशहर: मेरठ का कुख्यात इनामी बदमाश मुठभेड़ में ढेर, एक पुलिसकर्मी घायल


    "100 मीटर से कम ऊंचाई वाली पहाड़ी, पहाड़ी नहीं?" – कार्यकर्ताओं का सवाल

    जानकारों की मानें तो, नई परिभाषा के तहत 100 मीटर से कम ऊंचाई वाले हिस्सों को 'पहाड़ी' नहीं माना जाएगा। पर्यावरण कार्यकर्ता डॉ. सुभाष चंद्रन ने वी न्यूज 24 से कहा, "यह एक चालाकी भरा तरीका है। अरावली का बड़ा हिस्सा इस ऊंचाई से कम है। अगर उसे 'पहाड़' नहीं माना गया, तो उस पर वन और खनन कानून लागू नहीं होंगे। इसका मतलब है – बिल्डर और खनन माफिया की खुली छूट। यह पूरे एनसीआर के पानी और हवा के लिए खतरा है।"


    उदयपुर में भी उठी आवाज़

    राजस्थान के उदयपुर में भी 'अरावली बचाओ संघर्ष समिति' के नेतृत्व में सैकड़ों लोग जुटे। स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि पहाड़ियाँ न सिर्फ़ जलस्तर बनाए रखती हैं, बल्कि उनकी आजीविका और संस्कृति का आधार भी हैं। एक किसान नरेंद्र सिंह ने कहा, "सरकार कागजों पर परिभाषा बदलेगी, लेकिन हमारे जंगल, हमारे जानवर, हमारा पानी कौन लौटाएगा? ये पहाड़ हमारे दादा-परदादा की विरासत हैं, हम इन्हें बचाने से पीछे नहीं हटेंगे।"


    ये भी पढ़े-घुसपैठिए को बचाना चाहते है कुछ देशद्रोही',पीएम मोदी ने गुवाहाटी में कांग्रेस पर बोला तगड़ा हमला


    पुलिस तैनात, प्रशासन चुप

    दोनों शहरों में प्रदर्शन स्थलों पर भारी पुलिस बल तैनात रहा। अब तक प्रशासन की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है। हालांकि, सूत्रों का कहना है कि इस मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट में भी सुनवाई चल रही है और सरकार को अपना रुख स्पष्ट करना होगा।

    आने वाले दिनों में इस आंदोलन के और तेज होने की आशंका है। कार्यकर्ताओं ने चेतावनी दी है कि अगर सरकार ने अपना रुख नहीं बदला, तो प्रदर्शनों का दायरा बढ़ेगा और दिल्ली तक इसकी गूंज पहुंचेगी।

    वी न्यूज 24 पर बने रहिए, पर्यावरण और जनहित से जुड़ी हर बड़ी खबर के लिए।


    धन्यवाद! हमें खुशी है कि आपने वी न्यूज 24 की खबरें पढ़ीं।

    आपके विचार हमारे लिए महत्वपूर्ण हैं! अगर आपको हमारी रिपोर्टिंग पसंद आई, या कोई सुझाव हो, तो नीचे कमेंट जरूर करें — आपकी राय हमें और बेहतर बनाने में मदद करेगी।

    आप भी बन सकते हैं हमारे कम्युनिटी रिपोर्टर:
    अगर आपके आस-पास कोई ऐसी खबर, शिकायत या जनहित से जुड़ा मुद्दा है जिस पर सबकी नजर जानी चाहिए, तो हमें तुरंत व्हाट्सएप करें: 9599389900
    हम उसे जांचेंगे और सबसे पहले, बेबाक अंदाज में आप तक पहुंचाएंगे।

    वी न्यूज 24 – सच्ची खबरें, बिना डर के।

    फॉलो करते रहें और जुड़े रहें।

    कोई टिप्पणी नहीं

    कोमेंट करनेके लिए धन्यवाद

    Post Top Ad

    ad728

    Post Bottom Ad

    ad728