दिल्ली में 'युद्ध सायरन' के साथ मॉक ड्रिल: आतंकी खतरे से निपटने की तैयारी
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📍 रिपोर्ट : गौतम कुमार
🗓️ प्रकाशन तिथि: 6 मई 2025
📌 स्थान: नई दिल्ली
नई दिल्ली:- बुधवार शाम को दिल्ली के हर जिले में 'युद्ध सायरन' के साथ बड़े पैमाने पर मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया। पहलगाम आतंकी हमले और भारत-पाक के बीच बढ़ते तनाव के मद्देनजर गृह मंत्रालय के निर्देश पर यह अभ्यास किया गया, जिसका उद्देश्य किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए शहर की तैयारियों का जायजा लेना था। मॉक ड्रिल में सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स, दिल्ली पुलिस और अन्य विभागों ने हिस्सा लिया। पूर्वी जिले में शाम चार बजे गीता कॉलोनी स्थित स्कोप मीनार, कोंडली मार्केट, आइपी एक्सटेंशन और एनएसयूआइटी में मॉक ड्रिल की गई।
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7 मई को भी जारी रहेगा अभ्यास:
यह अभ्यास 7 मई को भी जारी रहेगा। सुबह 11 बजे मयूर विहार स्थित विद्या बाल भवन सीनियर सेकेंडरी स्कूल में मॉक ड्रिल होगी, जबकि शाम 4 बजे महर्षि वाल्मीकि कॉलेज ऑफ एजुकेशन, स्कोप मीनार, डीएम ईस्ट ऑफिस, कोंडली मार्केट और सहयोग अपार्टमेंट में मॉक ड्रिल की जाएगी।
नई दिल्ली जिले में इन स्थलों पर मॉक ड्रिल:
दिल्ली जिले में खान मार्केट, एनडीएमसी कार्यालय भवन (पालिका केंद्र), चरक पालिका अस्पताल, वसंत विहार (डी-6, आवासीय कॉलोनी), टी3 (आईजीआई एयरपोर्ट) और केन्द्रीय विद्यालय स्कूल (दिल्ली कैंट) में मॉक ड्रिल का आयोजन किया जाएगा।
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सुरक्षा व्यवस्था सख्त:
मॉक ड्रिल के साथ ही दिल्ली पुलिस ने शहर में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी है। दिन और रात की गश्त बढ़ा दी गई है, और हरियाणा और उत्तर प्रदेश से लगती दिल्ली की सीमाओं पर पुलिसकर्मियों के साथ अर्धसैनिक बलों को भी तैनात किया गया है। सभी डीसीपी अपने जिलों में सुरक्षा व्यवस्था की व्यक्तिगत रूप से निगरानी कर रहे हैं और सहायक पुलिस आयुक्तों (एसीपी) और स्टेशन हाउस अधिकारियों (एसएचओ) के साथ बैठकें कर रहे हैं।
मॉक ड्रिल क्या है?
मॉक ड्रिल एक तरह का अभ्यास है जो आपातकालीन स्थिति में किया जाता है। इसका उद्देश्य लोगों को आने वाले खतरे के बारे में सचेत रखना और जागरूकता बढ़ाना है। इसमें हवाई हमले की चेतावनी प्रणाली, भारतीय वायु सेना के साथ हॉटलाइन रेडियो संचार लिंक, आम लोगों के लिए रक्षा प्रशिक्षण, क्रैश ब्लैकआउट उपाय जैसे अभ्यास शामिल होते हैं।
दिल्ली में यह मॉक ड्रिल न केवल सुरक्षा एजेंसियों की तैयारियों को परखने का एक महत्वपूर्ण कदम है, बल्कि यह आम जनता को भी किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए जागरूक और तैयार रहने का संदेश देता है।
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